स्कूल एवं कॉलेजों में एन० सी० सी० की स्थापना

स्कूल एवं कॉलेजों में एन० सी० सी० की स्थापना (Establishment of N.C.C. in School or Colleges)

Establishment of NCC in School and Colleges
जो स्कूल/कॉलेज अपने यहाँ एन० सी० सी० प्रारम्भ करना चाहते हैं, उन्हें एक प्रार्थना-पत्र अपने क्षेत्र के बटालियन कमाण्डर को प्रेषित करना होता है। कॉलेज में एन० सी० सी० के सफलतापूर्वक संचालन के लिए निम्नलिखित बातों का ध्यान रखना होगा–
  1. निर्धारित कैडिटों की संख्या पूरी करने की जिम्मेदारी कॉलेज की होगी। 
  2. कॉलेज द्वारा एन० सी० सी० के सामान के रख-रखाव के लिये स्टोर रूम और ऑफिस के लिए व्यवस्था करनी होगी। 
  3. परेड ग्राउण्ड की उचित व्यवस्था करनी होगी।
  4. कॉलेज शार्ट रेंज की व्यवस्था करेगा।
  5. कॉलेज पात्र शिक्षक जो ए० एन० ओ० बन सके, की व्यवस्था करेगा। 
  6. कॉलेज एन० सी० सी० के क्रिया-कलाप में भाग लेने के लिए ए० एन० ओ० एवं कैडिट्स को समय पर भेजेगा।

ए० एन० ओ० की नियुक्ति के लिए शर्तें एवं प्रक्रिया (Conditions and Procedure for the Appointment of A.N.O.)

  1. शारीरिक एवं मानसिक रूप से स्वस्थ हो,
  2. अच्छा चरित्र हो,
  3. उम्र 42 वर्ष से कम तथा 21 वर्ष से अधिक न हो। विशेष परिस्थितियों में 3 वर्ष की छूट डी० जी० एन० सी० द्वार देय है। बी. और सी. प्रमाण-पत्र धारकों को दो वर्ष की छूट है।

उम्मीदवार शिक्षक उचित माध्यम के द्वारा प्रार्थना-पत्र प्रेषित करते हैं। पात्र शिक्षकों को साक्षात्कार के लिए निदेशालय के समक्ष उपस्थित होना पड़ता है। चयनित अभ्यर्थी को ओ० टी० ए० कॉम्पटी (महाराष्ट्र) या डब्ल्यू० टी० ग्वालियर में प्रशिक्षण दिया जाता है। चयनित शिक्षकों को 3 माह का प्री-कमीशन (एस० डी०) तथा 3 माह का प्रशिक्षण (जे० डी०) करने के बाद क्रमश: लेफ्टीनेण्ट, थर्ड ऑफीसर का रैंक मिलता है। सी प्रमाण-पत्र धारक और एक्स आर्मी मैन को सीधे कमीशन प्राप्त हो जाता है। इन्हें प्री कमीशन करने के स्थान पर एक चार हफ्ते का रिफरेशर कोर्स करना पड़ता है।

पदोन्नति (Promotion)– सीनियर डिवीजन के ए० एन० ओ० 8 वर्ष की कमीशन प्राप्त सेवा पर कैप्टन रैंक पर और 15 वर्ष की कमीशन प्राप्त सेवा पर मेजर रैंक पर पदोन्नति की जाती है। जूनियर डिवीजन के ए० एन० ओ० तीन वर्ष की सेवा के उपरान्त सेकण्ड ऑफीसर, 8 वर्ष की सेवा के उपरान्त फर्स्ट ऑफीसर तथा 15 वर्ष की सेवा के उपरान्त चीफ ऑफीसर पद पर पदोन्नति होती है। ए० एन० ओ० को 3 वर्ष, 8 वर्ष तथा 15 वर्ष की सेवा पर एक-एक महीने का रिफरेशर कोर्स करना पड़ता है। रिफरेशर कोर्स करने के बाद ही उनकी पदोन्नति होती है।

वेतन और भत्ते (Salary and Allowances)– ए० एन० ओ० के वेतन-भत्ते परिवर्तनशील हैं। रिफेसर कोर्स और कैम के दौरान निम्न दर से वेतन देय है–

वर्ग रैंक वेतन (₹)  मानदेय (₹)
जे० डी०

थर्ड ऑफीसर/समतुल्य 

सेकण्डर ऑफीसर/समतुल्य

फर्स्ट ऑफीसर/समतुल्य

चीफ ऑफीसर/समतुल्य

6500.00

8800.00

10800.00

13200.00

1800.00

2000.00

2200.00

2500.00

एस० डी०

लेफ्टिनेंट/समतुल्य

कैप्टन/समतुल्य

मेजर/समतुल्य

16000.00

18600.00

22600.00

2000.00

2500.00

3000.00

केयर टेकर (Caretaker)– ए० एन० ओ० की अनुपस्थिति में जो शिक्षक केयर टेकर के रूप में कार्य करता है उसे जे० डी० में 1,200 रु. और एस० डी० में 1,500 रु० प्रतिमाह मानदेय दिया जाता है।

यात्रा भत्ता (T.A.)– प्रथम श्रेणी का रेल किराया या थ्री टायर का किराया प्री कमीशन, रिफ्रेशर व कैम्पों में देय है।

भत्ता (D. A.)– पी आर सी एन/रेफ प्रशिक्षण के दौरान 212 रु. प्रतिदिन, भोजन भत्ता 130 रू प्रतिदिन, दैनिक भत्ता 130 रुपये प्रतिदिन, परिधान भत्ता 5,000 रू. (प्रत्येक 7 वर्ष पर), परिधान रख-रखाव भत्ता 1800 रु० प्रतिवर्ष (150 रु० प्रति माह की दर से) देय है।

अवकाश ग्रहण (Discharge)– ए० एन० ओ० 55 वर्ष की आयु में एन० सी० सी० से अवकाश ग्रहण करते हैं। सुयोग्य ए० एन० ओ० को एक-एक वर्ष का 3 बार सेवा विस्तार का लाभ मिल सकता है। ए० एन० ओ० को निम्नलिखित परिस्थितियों में सेवा से मुक्त किया जा सकता है–

  1. किसी न्यायालय द्वारा सजा दी गई हो।
  2. अदालत में झूठी गवाही देने पर। 
  3. मेडीकल दृष्टि से अयोग्य हो जाने पर।
  4. स्टाफ की लिस्ट में से उसका नाम हटा दिये जाने पर।
  5. अनुशासन हीनता करने पर।

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